Riders in Term Insurance: Make Your Policy Even Stronger!

Riders in Term Insurance: Make Your Policy Even Stronger!

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क्या आपने कभी सोचा कि आपकी टर्म इंश्योरेंस पॉलिसी वाकई में आपके और आपके परिवार को हर मुश्किल हालात में सुरक्षा दे रही है? टर्म इंश्योरेंस एक स्मार्ट फाइनेंशियल कदम है, लेकिन अगर इसमें सही राइडर्स न हों, तो यह अधूरी हो सकती है। राइडर्स वो अतिरिक्त सुरक्षा कवच हैं, जो आपकी पॉलिसी को आपकी ज़रूरतों के हिसाब से और मज़बूत बनाते हैं।

इस ब्लॉग में, हम आपको आसान और समझने योग्य भाषा में बताएंगे कि टर्म इंश्योरेंस राइडर्स क्या होते हैं, ये क्यों ज़रूरी हैं, और ये आपकी वित्तीय सुरक्षा को कैसे बढ़ाते हैं। हर राइडर को हम विस्तार से समझाएंगे और वास्तविक जीवन के उदाहरण देंगे, ताकि आप इसे अपनी ज़िंदगी से जोड़ सकें। अगर आप चाहते हैं कि आपका परिवार हर परिस्थिति में सुरक्षित रहे, तो इस लेख को ज़रूर पढ़ें!


Riders in Term Insurance: Make Your Policy Even Stronger!


टर्म इंश्योरेंस राइडर्स: एक आसान समझ

कल्पना कीजिए, आप एक पिज़्ज़ा ऑर्डर करते हैं। बेसिक पिज़्ज़ा में सिर्फ़ ब्रेड और टमाटर सॉस होता है – ये ठीक है, लेकिन स्वाद में कुछ कमी रहती है। अब, अगर आप इसमें चीज़, मशरूम, या ऑलिव्स डालते हैं, तो यह आपके टेस्ट के हिसाब से परफेक्ट हो जाता है। टर्म इंश्योरेंस भी ऐसा ही है – बेसिक पॉलिसी सिर्फ़ मृत्यु की स्थिति में परिवार को पैसे देती है। लेकिन राइडर्स वो अतिरिक्त टॉपिंग्स हैं, जो आपकी पॉलिसी को हर तरह की वित्तीय ज़रूरत के लिए तैयार करते हैं।

चाहे गंभीर बीमारी हो, दुर्घटना हो, या आय बंद होने की स्थिति, राइडर्स सुनिश्चित करते हैं कि आप और आपका परिवार हर मुश्किल में वित्तीय रूप से सुरक्षित रहें। आइए, अब जानते हैं कि ये राइडर्स कौन-से हैं और ये कैसे काम करते हैं।

6 ज़रूरी टर्म इंश्योरेंस राइडर्स और उनके फायदे

यहाँ हम 6 सबसे महत्वपूर्ण राइडर्स के बारे में विस्तार से बात करेंगे। हर राइडर को हम एक वास्तविक कहानी के साथ समझाएंगे, ताकि आप इसे अपनी ज़िंदगी से जोड़ सकें।

1. क्रिटिकल इलनेस राइडर

क्रिटिकल इलनेस राइडर क्या है?
यह राइडर आपको गंभीर बीमारियों जैसे कैंसर, हार्ट अटैक, स्ट्रोक, या किडनी फेलियर के लिए एकमुश्त राशि देता है। यह पैसा आपके इलाज, घर के खर्चों, और आय के नुकसान को कवर करने में मदद करता है, ताकि आप बिना तनाव के रिकवरी पर ध्यान दे सकें।

यह क्यों ज़रूरी है?
भारत में मेडिकल खर्चे हर साल 14% की दर से बढ़ रहे हैं। एक हार्ट सर्जरी का खर्च 4-6 लाख रुपये तक हो सकता है, और कैंसर का इलाज तो लाखों में जा सकता है। ऐसे में, यह राइडर आपके परिवार को वित्तीय बोझ से बचाता है।

उदाहरण:
रमेश, 35 साल के एक सॉफ्टवेयर इंजीनियर, को अचानक हार्ट अटैक होता है। उनकी 50 लाख की टर्म इंश्योरेंस पॉलिसी में 25 लाख का क्रिटिकल इलनेस राइडर है। बीमारी डायग्नोज़ होने पर उन्हें तुरंत 25 लाख रुपये मिलते हैं। इस पैसे से वे अपनी सर्जरी, दवाइयों, और घर के खर्चों का इंतज़ाम कर लेते हैं। उनकी पत्नी को ईएमआई और बच्चों की स्कूल फीस की चिंता नहीं करनी पड़ती।

लागत: 25 लाख के कवर के लिए सालाना 2000-5000 रुपये (उम्र और पॉलिसी पर निर्भर)।
खास बात: यह राइडर हेल्थ इंश्योरेंस से अलग है। हेल्थ इंश्योरेंस हॉस्पिटल बिल कवर करता है, जबकि क्रिटिकल इलनेस राइडर आपको आय के नुकसान की भरपाई के लिए पैसा देता है।

2. एक्सीडेंटल डेथ बेनिफिट राइडर

एक्सीडेंटल डेथ राइडर क्या है?
अगर आपकी मृत्यु किसी दुर्घटना (जैसे सड़क हादसा) की वजह से होती है, तो यह राइडर बेसिक टर्म इंश्योरेंस की राशि के अतिरिक्त एकमुश्त राशि देता है।

यह क्यों ज़रूरी है?
भारत में हर दिन 400 से ज़्यादा सड़क हादसे होते हैं, और 25-45 साल के लोग, जो परिवार के कमाने वाले सदस्य होते हैं, सबसे ज़्यादा प्रभावित होते हैं। यह राइडर आपके परिवार को अतिरिक्त वित्तीय सहारा देता है।

उदाहरण:
प्रिया, 32 साल की एक टीचर, की एक सड़क दुर्घटना में मृत्यु हो जाती है। उनकी 40 लाख की टर्म पॉलिसी में 20 लाख का एक्सीडेंटल डेथ राइडर है। उनके परिवार को 40 लाख (बेसिक कवर) + 20 लाख (राइडर) = 60 लाख रुपये मिलते हैं। इस पैसे से प्रिया का परिवार घर का लोन, बच्चों की पढ़ाई, और रोज़मर्रा के खर्चे मैनेज कर पाता है।

लागत: सालाना 600-800 रुपये, यानी एक मूवी टिकट से भी कम।
खास बात: अगर आपका बजट टाइट है, तो इस राइडर के बजाय बेस कवर बढ़ाना बेहतर हो सकता है, क्योंकि बेस कवर हर तरह की मृत्यु को कवर करता है।

3. एक्सीडेंटल टोटल एंड परमानेंट डिसेबिलिटी राइडर

यह राइडर क्या है?
अगर कोई दुर्घटना आपको स्थायी रूप से अक्षम (जैसे हाथ-पैर का नुकसान) कर देती है, जिससे आपकी कमाई बंद हो जाती है, तो यह राइडर एकमुश्त राशि या मासिक आय देता है।

यह क्यों ज़रूरी है?
दुर्घटना सिर्फ़ मृत्यु का कारण नहीं बनती; कई बार यह ज़िंदगी भर की अक्षमता भी दे जाती है। ऐसे में, परिवार के खर्चे, मेडिकल बिल, और रिहैबिलिटेशन का बोझ बढ़ जाता है। यह राइडर उस बोझ को कम करता है।

उदाहरण:
अजय, 38 साल के एक डिलीवरी मैनेजर, एक बाइक हादसे में अपने दोनों पैर खो देते हैं। उनकी नौकरी चली जाती है, लेकिन उनकी 50 लाख की पॉलिसी में डिसेबिलिटी राइडर होने की वजह से उन्हें हर महीने 50,000 रुपये मिलने लगते हैं। इस पैसे से वे अपने बच्चों की स्कूल फीस, घर का किराया, और मेडिकल खर्चे मैनेज कर लेते हैं।

लागत: बेस प्रीमियम का 12-15% अतिरिक्त, यानी 8000 रुपये के प्रीमियम पर सिर्फ़ 1000 रुपये सालाना।
खास बात: यह राइडर हाई-रिस्क जॉब (जैसे कंस्ट्रक्शन, डिलीवरी) वालों के लिए बहुत ज़रूरी है।

4. वेवर ऑफ प्रीमियम राइडर

यह राइडर क्या है?
अगर आप गंभीर बीमारी या स्थायी अक्षमता की वजह से प्रीमियम नहीं भर पाते, तो यह राइडर भविष्य के सभी प्रीमियम माफ कर देता है, और आपकी पॉलिसी एक्टिव रहती है।

यह क्यों ज़रूरी है?
अगर आपकी आय बंद हो जाए, तो पॉलिसी लैप्स होने का डर रहता है। यह राइडर सुनिश्चित करता है कि आपकी पॉलिसी हर हाल में चालू रहे। भारत में 32% टर्म पॉलिसीज़ सिर्फ़ प्रीमियम न भर पाने की वजह से लैप्स हो जाती हैं।

उदाहरण:
सुनीता, 40 साल की एक मार्केटिंग प्रोफेशनल, को किडनी की बीमारी हो जाती है। इलाज के दौरान उनकी नौकरी चली जाती है, और आय आधी हो जाती है। लेकिन उनकी पॉलिसी में वेवर ऑफ प्रीमियम राइडर होने की वजह से अगले 5 साल का 28,000 रुपये का प्रीमियम माफ हो जाता है। उनकी 1 करोड़ की पॉलिसी बिना किसी अतिरिक्त भुगतान के चालू रहती है।

लागत: बेस प्रीमियम का 10-12% अतिरिक्त, यानी 10,000 रुपये के प्रीमियम पर 1200 रुपये सालाना।
खास बात: यह राइडर हर उम्र के लिए ज़रूरी है, खासकर अगर आप परिवार के इकलौते कमाने वाले हैं।

5. टर्मिनल इलनेस राइडर

यह राइडर क्या है?
अगर डॉक्टर कन्फर्म करते हैं कि आपकी आयु 12 महीने से कम बची है (जैसे टर्मिनल कैंसर), तो यह राइडर पॉलिसी का 25-50% हिस्सा तुरंत देता है। बाकी राशि मृत्यु के बाद परिवार को मिलती है।

यह क्यों ज़रूरी है?
यह राइडर आपको और आपके परिवार को आखिरी समय में वित्तीय तनाव से बचाता है। आप इलाज, पारिवारिक ज़रूरतों, या अंतिम इच्छाओं को पूरा करने के लिए इस पैसे का इस्तेमाल कर सकते हैं।

उदाहरण:
राहुल, 45 साल के एक बिज़नेसमैन, को टर्मिनल कैंसर का पता चलता है। उनकी 80 लाख की पॉलिसी में टर्मिनल इलनेस राइडर है। उन्हें तुरंत 40 लाख रुपये मिलते हैं, जिससे वे अपने इलाज का खर्च, बच्चों की पढ़ाई का इंतज़ाम, और परिवार के लिए कुछ बचत कर पाते हैं। बाकी 40 लाख उनकी मृत्यु के बाद परिवार को मिलते हैं।

लागत: कई बार फ्री, या 80 लाख के कवर पर 200-400 रुपये सालाना।
खास बात: यह राइडर खासकर 40+ उम्र वालों के लिए उपयोगी है, जब स्वास्थ्य जोखिम बढ़ जाते हैं।

. हॉस्पिटल केयर राइडर

यह राइडर क्या है?
यह राइडर अस्पताल में भर्ती होने पर हर दिन के लिए एक निश्चित राशि देता है, जो छोटे-मोटे खर्चों (जैसे दवाइयाँ, खाना, या ट्रैवल) के लिए मदद करता है।

यह क्यों ज़रूरी है?
हॉस्पिटल में रहने के दौरान कई छोटे खर्चे होते हैं, जो हेल्थ इंश्योरेंस में कवर नहीं होते। यह राइडर उन खर्चों को मैनेज करने में मदद करता है।

उदाहरण:
नेहा, 29 साल की एक ग्राफिक डिज़ाइनर, को डेंगू की वजह से 5 दिन आईसीयू में रहना पड़ता है। उनकी पॉलिसी में हॉस्पिटल केयर राइडर होने की वजह से उन्हें हर दिन 20,000 रुपये मिलते हैं, यानी कुल 1 लाख रुपये। इस पैसे से वे दवाइयों, हॉस्पिटल स्नैक्स, और परिवार के आने-जाने का खर्च मैनेज कर लेती हैं।

लागत: पॉलिसी पर निर्भर, आमतौर पर बहुत कम।
खास बात: अगर आपके पास अच्छा हेल्थ इंश्योरेंस है, तो यह राइडर वैकल्पिक हो सकता है।

कौन-से राइडर्स आपके लिए सही हैं?

हर राइडर हर किसी के लिए ज़रूरी नहीं है। यह आपकी उम्र, वित्तीय स्थिति, नौकरी, और परिवार की ज़रूरतों पर निर्भर करता है। यहाँ कुछ सुझाव हैं:

  • 25-30 साल: क्रिटिकल इलनेस और वेवर ऑफ प्रीमियम राइडर लें। इस उम्र में प्रीमियम कम होता है, और ये राइडर्स लंबे समय तक सुरक्षा देते हैं।

  • 30-40 साल: एक्सीडेंटल डेथ और डिसेबिलिटी राइडर जोड़ें। इस उम्र में ज़िम्मेदारियाँ (जैसे बच्चों की पढ़ाई, लोन) सबसे ज़्यादा होती हैं।

  • 40+ साल: टर्मिनल इलनेस राइडर पर विचार करें, क्योंकि स्वास्थ्य जोखिम बढ़ जाते हैं।

  • हाई-रिस्क नौकरी: अगर आप कंस्ट्रक्शन, डिलीवरी, या ऐसी नौकरी में हैं, तो एक्सीडेंटल डेथ और डिसेबिलिटी राइडर अनिवार्य हैं।

  • पारिवारिक मेडिकल इतिहास: अगर आपके परिवार में कैंसर या हार्ट डिज़ीज का इतिहास है, तो क्रिटिकल इलनेस राइडर ज़रूर लें।

प्रो टिप: अगर आपका बजट सीमित है, तो पहले बेस कवर को बढ़ाएं। उदाहरण के लिए, 1 करोड़ का बेस कवर हर तरह की मृत्यु (बीमारी या दुर्घटना) को कवर करता है। फिर ज़रूरत के हिसाब से राइडर्स जोड़ें।

राइडर्स लेते समय इन गलतियों से बचें

  1. सभी राइडर्स ले लेना: हर राइडर की ज़रूरत नहीं होती। अपनी ज़रूरतों और बजट का आकलन करें।

  2. नियम और शर्तें न पढ़ना: वेटिंग पीरियड, एक्सक्लूज़न्स (क्या कवर नहीं है), और सर्वाइवल क्लॉज़ को ध्यान से पढ़ें। वरना, क्लेम के समय दिक्कत हो सकती है।

  3. राइडर्स को हेल्थ इंश्योरेंस समझना: राइडर्स हेल्थ इंश्योरेंस का विकल्प नहीं हैं। हेल्थ इंश्योरेंस हॉस्पिटल बिल कवर करता है, जबकि राइडर्स अतिरिक्त वित्तीय सहायता देते हैं।

How to Choose the Best Term Insurance Plan Ensure Your Financial Security

राइडर्स का असली फायदा: वित्तीय और मानसिक सुकून

पैसों की सुरक्षा ज़रूरी है, लेकिन मानसिक शांति उससे भी ज़्यादा कीमती है। जब आपको पता हो कि कोई भी संकट आए – बीमारी, दुर्घटना, या आय का नुकसान – आपका परिवार वित्तीय रूप से सुरक्षित रहेगा, तो आप अपने करियर, बिज़नेस, या निवेश में ज़्यादा आत्मविश्वास के साथ कदम उठा सकते हैं। राइडर्स वो सुकून की ईएमआई हैं, जो आपको रात में चैन की नींद सोने देते हैं।


अभी कदम उठाएं!

अब समय है अपनी टर्म इंश्योरेंस पॉलिसी को और मज़बूत करने का। आज ही अपनी मौजूदा पॉलिसी की जाँच करें और देखें कि क्या उसमें सही राइडर्स हैं। अगर आप नई पॉलिसी लेने की सोच रहे हैं, तो ट्रस्टेड ऑनलाइन प्लेटफॉर्म्स पर उपलब्ध विकल्पों की तुलना करें।

क्या करें?

  • अपनी पॉलिसी चेक करें: क्या उसमें राइडर्स हैं? क्या वो आपकी ज़रूरतों को पूरा करते हैं?

  • अपने वित्तीय लक्ष्यों और क्रेडिट स्कोर का रिव्यू करें।

  • पर्सनल लोन, ईएमआई मैनेजमेंट, या वित्तीय स्वास्थ्य से जुड़े हमारे अन्य ब्लॉग पढ़ें।

Source:- Policy Bazaar


💡 FAQs: टर्म इंश्योरेंस राइडर्स के बारे में अक्सर पूछे जाने वाले सवाल (FAQs) 💡

🔹 1. प्रश्न: टर्म इंश्योरेंस राइडर्स क्या होते हैं?
🟢 उत्तर:
टर्म इंश्योरेंस राइडर्स वो अतिरिक्त ऐड-ऑन होते हैं जिन्हें आप अपनी बेस टर्म इंश्योरेंस पॉलिसी के साथ जोड़ सकते हैं। ये राइडर्स आपकी पॉलिसी के कवरेज को बढ़ाते हैं और बीमारी, दुर्घटना या विकलांगता जैसी अप्रत्याशित परिस्थितियों में अतिरिक्त वित्तीय सुरक्षा देते हैं।

🔹 2. प्रश्न: क्या हर किसी को सभी राइडर्स लेने चाहिए?
🟢 उत्तर:
नहीं, हर राइडर हर व्यक्ति के लिए जरूरी नहीं होता। यह आपकी उम्र, वित्तीय स्थिति, नौकरी, और परिवार की ज़रूरतों पर निर्भर करता है। ज़रूरत और बजट के अनुसार सही राइडर्स चुनकर अपनी पॉलिसी को कस्टमाइज़ करें।

🔹 3. प्रश्न: क्रिटिकल इलनेस राइडर क्यों जरूरी है?
🟢 उत्तर:
यह राइडर गंभीर बीमारियों जैसे कैंसर, हार्ट अटैक आदि के इलाज के खर्च और आय के नुकसान को पूरा करता है। भारत में मेडिकल खर्च तेजी से बढ़ रहे हैं, इसलिए यह राइडर परिवार को भारी आर्थिक बोझ से बचाने में मदद करता है।

🔹 4. प्रश्न: एक्सीडेंटल डेथ बेनिफिट राइडर क्या है?
🟢 उत्तर:
यह राइडर दुर्घटना में मृत्यु होने पर बेसिक टर्म इंश्योरेंस के अलावा अतिरिक्त राशि देता है। यह विशेष रूप से उन परिवारों के लिए सहायक है जिन्हें आकस्मिक नुकसान के बजट की चिंता होती है।

🔹 5. प्रश्न: वेवर ऑफ प्रीमियम राइडर कैसे काम करता है?
🟢 उत्तर:
यह राइडर तब काम आता है जब आप गंभीर बीमारी या स्थायी अक्षमता के कारण प्रीमियम नहीं भर पाते। इसके अंतर्गत आपके आगे के प्रीमियम माफ हो जाते हैं और आपकी पॉलिसी बिना किसी बाधा के चालू रहती है।

🔹 6. प्रश्न: राइडर्स हेल्थ इंश्योरेंस की जगह ले सकते हैं?
🟢 उत्तर:
नहीं, राइडर्स और हेल्थ इंश्योरेंस अलग हैं। हेल्थ इंश्योरेंस हॉस्पिटल बिल को कवर करता है, जबकि राइडर्स अतिरिक्त वित्तीय सहायता देते हैं जैसे आय की हानि, स्थायी विकलांगता, या अंतिम सालों में आर्थिक कवरेज।

🔹 7. प्रश्न: टर्म इंश्योरेंस राइडर्स से मुझे मानसिक लाभ कैसे मिलता है?
🟢 उत्तर:
राइडर्स की वजह से आपको यह मानसिक शांति मिलती है कि किसी भी अचानक बीमारी, दुर्घटना या आय बंद होने की स्थिति में आपका परिवार आर्थिक रूप से सुरक्षित रहेगा, जिससे आप फोकस्ड और आत्मविश्वासी रह सकते हैं।

✨ टिप: अपनी पॉलिसी में सही राइडर्स जोड़ना आपके और आपके परिवार की वित्तीय सुरक्षा के लिए एक मजबूत कदम है। अपनी ज़रूरतों और बजट के हिसाब से राइडर्स को चुनें और पूरी शर्तें समझ कर निवेश करें।

📝 Riders in Term Insurance (QUIZ)

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1. टर्म इंश्योरेंस राइडर्स का मतलब क्या है?

केवल मृत्यु के बाद भुगतान
पॉलिसी के साथ जोड़े जाने वाले अतिरिक्त लाभ
हेल्थ इंश्योरेंस का हिस्सा
निवेश के विकल्प

2. क्रिटिकल इलनेस राइडर किस स्थिति में लाभ देता है?

सामान्य सर्दी-खांसी में
गंभीर बीमारियों जैसे कैंसर या हार्ट अटैक में
यात्रा करते समय दुर्घटना में
पॉलिसी खत्म होने पर

3. एक्सीडेंटल डेथ बेनिफिट राइडर कब काम आता है?

मृत्यु प्राकृतिक कारणों से हो
दुर्घटना से मृत्यु होने पर
पॉलिसी खत्म होने पर
चिकित्सकीय जांच में

4. वेवर ऑफ प्रीमियम राइडर का लाभ क्या है?

प्रीमियम का रिटर्न
गंभीर बीमारी के कारण प्रीमियम माफ होना
पॉलिसी खत्म होने पर बोनस
निवेश का बढ़ना

5. टर्मिनल इलनेस राइडर में क्या मिलता है?

पॉलिसी की पूरी राशि तुरंत मिलती है
पॉलिसी का एक हिस्सा तुरंत मिल जाता है
केवल मृत्यु के बाद भुगतान होता है
प्रीमियम बढ़ जाता है

6. डिसेबिलिटी राइडर किसके लिए लाभकारी है?

स्थायी विकलांगता की स्थिति में मासिक आय
केवल आकस्मिक मौत के लिए
पॉलिसी की अवधि बढ़ाने के लिए
प्रीमियम कम करने के लिए

7. हॉस्पिटल केयर राइडर क्या कवर करता है?

अस्पताल में भर्ती के दौरान दैनिक खर्च
केवल दवाइयों का खर्च
सिर्फ डॉक्टर की फीस
पॉलिसी की राशि बढ़ाना

8. किस राइडर से मानसिक शांति मिलती है कि आय बंद होने पर भी पॉलिसी चालू रहेगी?

क्रिटिकल इलनेस राइडर
वेवर ऑफ प्रीमियम राइडर
एक्सीडेंटल डेथ राइडर
हॉस्पिटल केयर राइडर

9. टर्म इंश्योरेंस में सभी राइडर्स क्यों नहीं लिए जाने चाहिए?

हर राइडर अनिवार्य है
यह आपकी ज़रूरतों और बजट पर निर्भर करता है
राइडर लेना अनावश्यक खर्च है
राइडर पॉलिसी को खराब करते हैं

10. हेल्थ इंश्योरेंस और टर्म इंश्योरेंस राइडर्स में क्या मुख्य अंतर है?

दोनों एक जैसे हैं
हेल्थ इंश्योरेंस अस्पताल खर्च कवर करता है; राइडर्स अतिरिक्त वित्तीय मदद देते हैं
राइडर्स केवल प्रीमियम कम करते हैं
हेल्थ इंश्योरेंस कंप्लीट कवरेज है, राइडर नहीं हैं

डिस्क्लेमर: यह लेख केवल जानकारी के उद्देश्य से है और इसे वित्तीय सलाह के रूप में नहीं लिया जाना चाहिए। टर्म इंश्योरेंस या राइडर्स खरीदने से पहले किसी सर्टिफाइड वित्तीय सलाहकार से परामर्श करें। सभी प्रोडक्ट्स और उनके फीचर्स समय के साथ बदल सकते हैं। अपनी पॉलिसी के नियम और शर्तें ध्यान से पढ़ें।

ABOUT THE AUTHOR

Robin Singh is a personal finance enthusiast with 5 years of experience in stock markets, loans, and insurance. Through Robin Talks Finance, he shares practical tips to help Indians make informed financial decisions. His insights come from hands-on experience and research from trusted sources like SEBI and RBI. Disclaimer: This content is for informational purposes only, not financial advice. Contact: inquiryrobinsingh@gmail.com

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