How to Choose Health Insurance and File a Claim: An Easy Guide

How to Choose Health Insurance and File a Claim: An Easy Guide

Robin Singh


हेल्थ इन्श्योरेन्स प्लान कैसे चुने ?

स्वास्थ्य बीमा आज के समय में हर व्यक्ति की जरूरत है। चाहे छोटी बीमारी हो या बड़ा इलाज, मेडिकल खर्चे तेजी से बढ़ रहे हैं। एक अच्छा स्वास्थ्य बीमा (हेल्थ इंश्योरेंस) आपको और आपके परिवार को वित्तीय सुरक्षा दे सकता है। लेकिन सही बीमा पॉलिसी चुनना और क्लेम की प्रक्रिया समझना कई लोगों के लिए मुश्किल हो सकता है। इस ब्लॉग में, हम आपको बताएंगे How to Choose Health Insurance and File a Claim ताकि आप अपनी जरूरत के हिसाब से सही फैसला ले सकें।


How to Choose Health Insurance and File a Claim: An Easy Guide

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स्वास्थ्य बीमा क्यों जरूरी है?

आज के दौर में, एक छोटी-सी बीमारी का खर्च भी लाखों में पहुंच सकता है। उदाहरण के लिए, अगर किसी को हॉस्पिटल में कुछ दिन भर्ती होना पड़े, तो बिल आसानी से 5-7 लाख रुपये तक जा सकता है। बिना बीमा के यह खर्च आपकी जेब पर भारी पड़ सकता है। स्वास्थ्य बीमा न केवल इलाज के खर्च को कवर करता है, बल्कि आपको मानसिक शांति भी देता है।


इस ब्लॉग में आप क्या जानेंगे?

  • स्वास्थ्य बीमा के प्रकार: इंडिविजुअल और फैमिली फ्लोटर पॉलिसी में क्या अंतर है?

  • सही पॉलिसी कैसे चुनें: कवरेज, प्रीमियम, और जरूरी फीचर्स।

  • क्लेम की प्रक्रिया: कैशलेस और रीइंबर्समेंट क्लेम कैसे करें।

  • प्रैक्टिकल टिप्स: बीमा खरीदते समय ध्यान देने योग्य बातें।


स्वास्थ्य बीमा के दो मुख्य प्रकार

स्वास्थ्य बीमा दो तरह का होता है: इंडिविजुअल पॉलिसी और फैमिली फ्लोटर पॉलिसी। दोनों के अपने फायदे हैं, और आपकी जरूरत के हिसाब से आपको इन्हें चुनना चाहिए।


1. इंडिविजुअल पॉलिसी

इसमें एक व्यक्ति के लिए अलग से बीमा लिया जाता है। उदाहरण के लिए, अगर आप अपने माता-पिता के लिए बीमा लेना चाहते हैं, तो उनके लिए अलग-अलग इंडिविजुअल पॉलिसी लेना बेहतर हो सकता है।

उदाहरण: मान लीजिए, आपने अपनी मां के लिए 25 लाख रुपये की इंडिविजुअल पॉलिसी ली। अगर उन्हें भविष्य में इलाज की जरूरत पड़ी, तो वे इस पूरी राशि का इस्तेमाल कर सकती हैं।


2. फैमिली फ्लोटर पॉलिसी

इसमें एक ही पॉलिसी पूरे परिवार को कवर करती है। जैसे, आप, आपकी पत्नी, और आपके बच्चे एक ही पॉलिसी के तहत कवर हो सकते हैं।

उदाहरण: अगर आपने 50 लाख रुपये की फैमिली फ्लोटर पॉलिसी ली, तो परिवार का कोई भी सदस्य इस राशि का इस्तेमाल कर सकता है। लेकिन ध्यान दें, प्रीमियम परिवार के सबसे उम्रदराज व्यक्ति की उम्र के आधार पर तय होता है। इसलिए, अगर आप अपने बुजुर्ग माता-पिता को इसमें शामिल करते हैं, तो प्रीमियम बढ़ सकता है।

टिप: अगर आपके माता-पिता की उम्र ज्यादा है, तो उनके लिए अलग इंडिविजुअल पॉलिसी लेना किफायती हो सकता है।


सही स्वास्थ्य बीमा कैसे चुनें?

स्वास्थ्य बीमा खरीदते समय कुछ जरूरी बातों का ध्यान रखें, ताकि आपको अपनी जरूरत के हिसाब से सबसे अच्छी पॉलिसी मिले।


1. कवरेज राशि (Sum Insured)

  • कम से कम 10 लाख रुपये का कवर चुनें: छोटे शहरों में यह राशि काफी हो सकती है, लेकिन मेट्रो शहरों में 25 लाख रुपये या उससे ज्यादा का कवर बेहतर है।

  • उदाहरण: अगर आप दिल्ली जैसे शहर में रहते हैं और बड़े हॉस्पिटल में इलाज करवाना चाहते हैं, तो 25 लाख रुपये का कवर चुनना समझदारी होगी।


2. नो-क्लेम बोनस

अगर आप एक साल में कोई क्लेम नहीं करते, तो कई कंपनियां आपको नो-क्लेम बोनस देती हैं। इससे आपका कवरेज बढ़ जाता है, बिना प्रीमियम बढ़ाए।

उदाहरण: आपकी 25 लाख की पॉलिसी 2-3 साल तक क्लेम न करने पर 31.5 लाख रुपये तक बढ़ सकती है।


3. रूम रेंट लिमिट

कई पॉलिसी में रूम रेंट की सीमा होती है। अगर आप "नो रूम रेंट लिमिट" वाली पॉलिसी चुनते हैं, तो आपको हॉस्पिटल में किसी भी तरह के रूम (प्राइवेट या शेयर्ड) में रहने की आजादी मिलती है।

उदाहरण: अगर आपकी पॉलिसी में शेयर्ड रूम की सीमा है, लेकिन हॉस्पिटल में केवल प्राइवेट रूम उपलब्ध है, तो आपको अतिरिक्त खर्च अपनी जेब से करना पड़ सकता है।


4. प्री- और पोस्ट-हॉस्पिटलाइजेशन खर्च

  • प्री-हॉस्पिटलाइजेशन: हॉस्पिटल में भर्ती होने से पहले के मेडिकल खर्च, जैसे दवाइयां या टेस्ट।

  • पोस्ट-हॉस्पिटलाइजेशन: डिस्चार्ज के बाद के खर्च, जैसे फॉलो-अप दवाइयां।

  • कुछ कंपनियां 60 दिन, कुछ 90 दिन, और कुछ 120 दिन तक के खर्च कवर करती हैं। ज्यादा समय कवर करने वाली पॉलिसी चुनें।


5. रीस्टोरेशन बेनिफिट

यह फीचर तब काम आता है, जब आप एक साल में अपनी पूरी कवर राशि का इस्तेमाल कर लेते हैं। अगर पॉलिसी में रीस्टोरेशन बेनिफिट है, तो कवर राशि फिर से रिस्टोर हो जाती है।

उदाहरण: मान लीजिए, आपकी 10 लाख की पॉलिसी है। आपने 8 लाख रुपये का क्लेम कर लिया। अगर रीस्टोरेशन बेनिफिट है, तो अगले क्लेम के लिए 10 लाख रुपये फिर से उपलब्ध होंगे। लेकिन इसके नियम और शर्तें ध्यान से पढ़ें।


6. ऑनलाइन तुलना करें

  • प्लेटफॉर्म्स जैसे Policybazaar पर जाकर अलग-अलग कंपनियों की पॉलिसी तुलना करें। इससे आपको प्रीमियम और फीचर्स की साफ तस्वीर मिलेगी।

  • ऑनलाइन खरीदने से प्रीमियम में 5-10% की बचत हो सकती है।



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स्वास्थ्य बीमा क्लेम कैसे करें?

क्लेम करना उतना मुश्किल नहीं है, जितना लोग सोचते हैं। दो तरह के क्लेम होते हैं: कैशलेस और रीइंबर्समेंट


1. कैशलेस क्लेम

  • अगर आप नेटवर्क हॉस्पिटल में इलाज करवाते हैं, तो बीमा कंपनी सीधे हॉस्पिटल को पेमेंट कर देती है।

  • आपको बस अपनी पॉलिसी डिटेल्स और आईडी प्रूफ हॉस्पिटल में दिखाना होता है।


2. रीइंबर्समेंट क्लेम

  • अगर आपने अपनी जेब से बिल भरा है, तो आप बाद में क्लेम कर सकते हैं।

  • प्रक्रिया:

    1. बीमा कंपनी की ऐप या वेबसाइट पर जाएं 

    2. "Raise a Claim" ऑप्शन चुनें।

    3. पॉलिसी नंबर, हॉस्पिटल का नाम, और बिल की डिटेल्स डालें।

    4. हॉस्पिटल बिल, दवाइयों की रसीद, और कैंसिल चेक की फोटो अपलोड करें।

    5. हॉस्पिटल से मिला क्लेम फॉर्म भी अपलोड करें।

    6. क्लेम सबमिट करने के बाद, कंपनी 7-8 दिन में पेमेंट प्रोसेस करती है।


उदाहरण: मान लीजिए, आपके पिता का मोतियाबिंद (अपेंडिक्स) ऑपरेशन हुआ, जिसका बिल 50,000 रुपये था। आपने अपनी जेब से पेमेंट किया। अब आप बीमा कंपनी की ऐप पर जाकर बिल, रसीद, और कैंसिल चेक अपलोड करते हैं। 8 दिन के अंदर राशि आपके बैंक अकाउंट में आ जाएगी।


बीमा खरीदते समय ध्यान देने योग्य बातें

  • प्री-एक्सिस्टिंग डिजीज: अगर आपको पहले से कोई बीमारी है, तो उसे छिपाएं नहीं। कुछ कंपनियां 1-3 साल के वेटिंग पीरियड के बाद ऐसी बीमारियों को कवर करती हैं।

  • मैटरनिटी बेनिफिट: अगर आप जल्द ही परिवार बढ़ाने की योजना बना रहे हैं, तो मैटरनिटी कवर वाली पॉलिसी चुनें।

  • पॉलिसी अवधि: 1 साल की बजाय 2-3 साल की पॉलिसी लेने से प्रीमियम में छूट मिल सकती है।


निष्कर्ष और अगला कदम

स्वास्थ्य बीमा चुनना और क्लेम करना अब पहले जितना जटिल नहीं है। सही जानकारी और थोड़ी रिसर्च के साथ, आप अपने और अपने परिवार के लिए सबसे अच्छी पॉलिसी चुन सकते हैं। आज ही ऑनलाइन तुलना शुरू करें और अपनी जरूरत के हिसाब से एक अच्छा स्वास्थ्य बीमा लें। अगर आप अभी शुरू करना चाहते हैं, तो नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक करके अपनी लोन एलिजिबिलिटी चेक करें या हमारी वेबसाइट पर अन्य फाइनेंस से जुड़े लेख पढ़ें।


Source:- Policy Bazaar


  स्वास्थ्य बीमा से जुड़े 7 महत्वपूर्ण FAQs  


प्रश्न 1: इंडिविजुअल और फैमिली फ्लोटर पॉलिसी में क्या फर्क है?

उत्तर 1: इंडिविजुअल पॉलिसी में हर व्यक्ति के लिए अलग बीमा कवर मिलता है, जबकि फैमिली फ्लोटर पॉलिसी में एक बीमा राशि पूरे परिवार के लिए होती है, जिसे कोई भी सदस्य उपयोग कर सकता है।

प्रश्न 2: स्वास्थ्य बीमा खरीदते समय कितनी कवरेज राशि (Sum Insured) चुननी चाहिए?

उत्तर 2: छोटे शहरों के लिए कम से कम ₹10 लाख और मेट्रो शहरों या बड़े हॉस्पिटल के लिए ₹25 लाख या उससे ज्यादा की कवरेज राशि चुनना बेहतर है।

प्रश्न 3: नो-क्लेम बोनस क्या है और इसका फायदा कैसे मिलता है?

उत्तर 3: नो-क्लेम बोनस तब मिलता है जब आप एक साल में क्लेम नहीं करते, इससे आपकी पॉलिसी की कवरेज राशि बढ़ जाती है, लेकिन प्रीमियम वही रहता है।

प्रश्न 4: कैशलेस और रीइंबर्समेंट क्लेम में क्या अंतर है?

उत्तर 4: कैशलेस क्लेम में बीमा कंपनी हॉस्पिटल का बिल सीधे चुकाती है, जबकि रीइंबर्समेंट क्लेम में आपको पहले खर्च देने होते हैं, फिर कंपनी से पैसे वापस मिलते हैं।

प्रश्न 5: रूम रेंट लिमिट क्यों जरूरी है और इसे चुनते समय क्या ध्यान रखना चाहिए?

उत्तर 5: रूम रेंट लिमिट पॉलिसी में निर्धारित होती है कि आप हॉस्पिटल में किस तरह का रूम ले सकते हैं। "नो रूम रेंट लिमिट" वाली पॉलिसी ज्यादा बेहतर होती है, जिससे आपको किसी भी रूम का विकल्प मिलता है।

प्रश्न 6: क्लेम करने की प्रक्रिया क्या है और क्या जरूरी दस्तावेज चाहिए?

उत्तर 6: क्लेम करने के लिए आपको पॉलिसी नंबर, हॉस्पिटल बिल, दवाइयों की रसीद, कैंसिल चेक और हॉस्पिटल क्लेम फॉर्म कंपनी की वेबसाइट या ऐप पर अपलोड करना होता है; आमतौर पर 7-8 दिन में राशि मिल जाती है।

प्रश्न 7: स्वास्थ्य बीमा खरीदते समय प्री-एक्सिस्टिंग डिजीज और मैटरनिटी बेनिफिट का ध्यान क्यों रखना चाहिए?

उत्तर 7: अगर आपको पहले से कोई बीमारी है, तो उसे पॉलिसी में जरूर बताएं, ताकि वेटिंग पीरियड के बाद कवर मिले। अगर परिवार बढ़ाने की योजना है, तो मैटरनिटी बेनिफिट वाली पॉलिसी चुनें।

ये सवाल और जवाब आपके स्वास्थ्य बीमा चयन और क्लेम प्रक्रिया में काफी मदद करेंगे।

अस्वीकरण: यह ब्लॉग केवल जानकारी के उद्देश्य से है। कोई भी वित्तीय निर्णय लेने से पहले अपने वित्तीय सलाहकार से संपर्क करें। स्वास्थ्य बीमा पॉलिसी चुनते समय नियम और शर्तें ध्यान से पढ़ें। Robin Talks Finance किसी भी बीमा कंपनी का समर्थन नहीं करता और न ही किसी विशिष्ट पॉलिसी की सिफारिश करता है।

स्वास्थ्य बीमा चुनना और क्लेम करना

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1. स्वास्थ्य बीमा का सबसे प्रमुख लाभ क्या है?

त्वरित लाभांश
वित्तीय सुरक्षा
रोजाना नकद भुगतान
मुफ्त मोबाइल फोन

2. इंडिविजुअल स्वास्थ्य बीमा पॉलिसी किसके लिए होती है?

पूरे परिवार के लिए
एक व्यक्ति के लिए
केवल बुजुर्गों के लिए
बच्चों के लिए

3. फैमिली फ्लोटर पॉलिसी में प्रीमियम किस आधार पर तय होता है?

परिवार की कुल संख्या
सबसे उम्रदराज सदस्य की उम्र
घर के क्षेत्रफल के आधार पर
परिवार के औसत वजन पर

4. यदि बिना किसी क्लेम के एक साल पूरा हो जाता है, तो आपको क्या मिलता है?

फ्री हॉस्पिटलाइजेशन
नो-क्लेम बोनस
रिपेयरिंग लाभ
तत्काल भुगतान

5. रूम रेंट लिमिट वाली पॉलिसी में क्या हो सकता है?

हॉस्पिटल बिल पूरी तरह कवर होता है
प्राइवेट रूम की सुविधा मुफ्त मिलती है
प्राइवेट रूम उपयोग करने पर अतिरिक्त खर्च देना पड़ता है
कोई सीमा नहीं होती

6. प्री-हॉस्पिटलाइजेशन खर्च किसे कहा जाता है?

डिस्चार्ज के बाद के खर्च
भर्ती से पहले के मेडिकल खर्च
हॉस्पिटल के बाहर की यात्रा खर्च
पॉलिसी खरीदने का खर्च

7. रीस्टोरेशन बेनिफिट क्या करती है?

प्रीमियम कम करती है
क्लेम राशि पुनः उपलब्ध कराती है
अस्पताल की फीस माफ कर देती है
क्लेम प्रक्रिया आसान बनाती है

8. कैशलेस क्लेम कब किया जाता है?

जब अस्पताल नेटवर्क में हो
जब बिल खुद भरते हैं
ऑनलाइन आवेदन न हो
पॉलिसी खत्म हो गई हो

9. रीइंबर्समेंट क्लेम प्रक्रिया में क्या करना होता है?

सीधे अस्पताल में बिल जमा करना
बिल और रसीद ऑनलाइन जमा करना
अस्पताल में भर्ती न होना
प्रीमियम बढ़ाना

10. स्वास्थ्य बीमा लेते समय प्री-एक्सिस्टिंग डिजीज के बारे में क्या करना चाहिए?

छुपाना चाहिए
खुलकर बताना चाहिए
पॉलिसी बदलनी चाहिए
क्लेम न करना चाहिए

ABOUT THE AUTHOR

Robin Singh is a personal finance enthusiast with 5 years of experience in stock markets, loans, and insurance. Through Robin Talks Finance, he shares practical tips to help Indians make informed financial decisions. His insights come from hands-on experience and research from trusted sources like SEBI and RBI. Disclaimer: This content is for informational purposes only, not financial advice. 

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